बुलंदशहर (उत्तर प्रदेश) : जिले के गन्ना उत्पादक किसानों के लिए एक राहत देने वाली खबर है। अगौता चीनी मिल की गन्ना पेराई क्षमता 20 हजार क्विंटल तक बढ़ गई है। अभी तक मिल की प्रतिदिन पेराई क्षमता 50 हजार क्विंटल गन्ना पेराई की क्षमता थी। पेराई क्षमता बढ़ने से किसानों को पेराई के लिए जादा इंतजार करना नही पड़ेगा। पेराई जल्दी होने से खेत जल्दी खाली होंगे, और किसान अन्य फसल ले सकेंगे। अमर उजाला में प्रकाशित खबर के अनुसार, जिला गन्ना अधिकारी अनिल कुमार भारती ने कहा कि, जिले में चार चीनी मिल संचालित हैं। इनमें अनूपशहर चीनी मिल, वेव चीनी मिल, अगौता चीनी मिल और साबितगढ़ चीनी मिल शामिल हैं। इनमें सबसे अधिक 75 हजार क्विंटल गन्ना पेराई साबितगढ़ चीनी मिल करती है। अनूपशहर चीनी मिल 25 हजार और वेव चीनी मिल प्रतिदिन 35 हजार क्विंटल गन्ना पेराई करती है।अब अगौता चीनी मिल प्रतिदिन 70 हजार क्विंटल गन्ना पेराई कर सकेगी।
उन्होंने बताया कि, चीनी मिलों के संचालन के साथ किसानों के सट्टा बनाने का काम भी तेजी से चल रहा है। जिले में गन्ने की फसल का सर्वे पहले ही किया जा चुका है। इस बार जिले में बंपर 84 हजार हेक्टेयर से अधिक गन्ने की फसल है।जनपद की चीनी मिलों में गन्ना पेराई सत्र 2025-26 को लेकर तैयारियां तेज हो गई हैं। इस बार जनपद में 84 हजार हेक्टेयर से अधिक भूमि में गन्ने की फसल है। पिछले गन्ना पेराई सत्र का हापुड़ की चीनी मिलों पर अभी 30 करोड़ रुपये बकाया है। नए सत्र की तैयारी चल रही है लेकिन किसानों का भुगतान अब भी फंसा हुआ है। गन्ना विभाग के अनुसार जिले के चारों मिलों की ओर से बकाया गन्ना भुगतान समय पर कर दिया था। हापुड़ की बृजनाथपुर और सिम्भावली चीनी मिल पर किसानों का 30 करोड़ रुपये अभी भी बकाया चल रहा है। डीसीओ के अनुसार इन मिलों से बकाया गन्ना भुगतान कराने के लिए लगातार संपर्क किया जा रहा है।