कोल्हापुर: स्वाभिमानी शेतकरी संगठन के संस्थापक, पूर्व सांसद राजू शेट्टी ने उपमुख्यमंत्री अजित पवार की अवैध एफआरपी समिति की बैठक में चीनी मिल मालिकों के हित में एकमुश्त एफआरपी को नष्ट करने के निर्णय लेने की आलोचना की। उन्होंने कहा कि, उपमुख्यमंत्री अजित पवार की अध्यक्षता वाली तथाकथित एफआरपी समिति ने उसी वर्ष की चीनी रिकवरी के हिसाब से एफआरपी भुगतान करने का अवैध निर्णय लिया हैं।
शेट्टी ने कहा कि, मूलतः, बॉम्बे उच्च न्यायालय ने एकमुश्त एफआरपी के संबंध में स्पष्ट आदेश देकर राज्य सरकार द्वारा लिए गए 2021 के निर्णय को रद्द कर दिया है। राज्य चीनी संघ और राज्य सरकार ने इस संबंध में सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया है। हालांकि, कोई रोक नहीं लगी है। केंद्र सरकार ने एफआरपी के प्रावधान के संबंध में कोई अध्यादेश जारी नहीं किया है, बल्कि गन्ना नियंत्रण आदेश में अध्यादेश का कड़ाई से पालन करने का निर्देश दिया है। उन्होंने कहा, अगर राज्य सरकार और चीनी मिलर्स इसी तरह गन्ना किसानों लूटने वाले हैं तो मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस को गन्ना किसानों के साथ खड़ा होना होगा।