चंडीगढ़:हरियाणा सरकार बायो सीबीजी(कंप्रेस्ड बायोगैस प्लांट) में नया मुकाम हासिल करने की राह पर है। सरकार ने राज्य की 11 चीनी मिलों में बायो सीबीजी(कंप्रेस्ड बायोगैस प्लांट)लगाने का फैसला लिया है।ये प्लांट चीनी मिलों के कचरे को बायोगैस में बदलेंगे।बायोगैस का इस्तेमाल सीएनजी की तरह वाहनों, खाना पकाने और बिजली उत्पादन में किया जाएगा।
अमर उजाला में प्रकाशित खबर के अनुसार, हरियाणा राज्य सहकारी चीनी मिल संघ लिमिटेड ने सीबीजी प्लांट की स्थापना के लिए एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (ईओआई) आवेदन मांग लिया है। हरियाणा शुगरफेड के प्रबंध निदेशक कैप्टन शक्ति सिंह ने कहा, कंप्रेस्ड बायोगैस को पेट्रोल और डीजल के नए विकल्प के तौर पर देखा जा रहा है। इससे चीनी मिल के कचरे का निस्तारण हो सकेगा।
स्वच्छ ईंधन के साथ किसानों को आर्गेनिक खाद भी मिल सकेगी। इसके अलावा हर शुगर मिल को सालाना सात से आठ करोड़ रुपये की आय भी अर्जित होगी। सीबीजी प्लांट लगाने वालों को रियायत भी दी जा रही है। हरियाणा की जिन शुगर मिल में सीबीजी प्लांट लगाने की योजना है, उनमें पानीपत, शाहाबाद, करनाल, रोहतक, सोनीपत, जींद, पलवल, महम, कैथल, गोहाना और असंध की मिल शामिल हैं।प्लांट लगाने की इच्छुक कंपनियां 10 मई तक अपने आवेदन शुगर