गोंडा : किसानों के गन्ना मूल्य भुगतान में देरी करने वाले चीनी मिलों के खिलाफ नकेल कसनी शुरू कर दी है। भुगतान में विफल मिलों के अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जा रहा है। जागरण में प्रकाशित खबर के मुताबिक,चीनी व शीरा की बिक्री करने के बावजूद किसानों को गन्ना मूल्य का भुगतान न करने पर कुंदरकी चीनी मिल के यूनिट हेड समेत तीन अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा कराया गया है। गन्ना समिति गोंडा के सचिव ने एक अरब 87 करोड़ रुपये की बकायेदारी को लेकर मुकदमा कराया है।
सहकारी गन्ना विकास समिति गोंडा के सचिव राम मिलन ने कहा कि, कुंदरकी चीनी मिल ने अभी तक पेराई सत्र 2024-25 के शत प्रतिशत गन्ना मूल्य भुगतान नहीं किया है। भुगतान के लिए गन्ना आयुक्त, डीएम, जिला गन्ना अधिकारी व उप गन्ना आयुक्त ने नोटिस जारी किया था लेकिन, चीनी मिल ने संपूर्ण गन्ना मूल्य का भुगतान न कर उनके आर्थिक हितों के विपरीत कार्य करने के साथ ही धोखाधड़ी की है। उन्होंने कहा, चीनी मिल प्रबंधन के इस कृत्य से किसानों को आर्थिक कठिनाई हो रही है। उन्होंने कहा कि, चीनी मिल का पेराई सत्र 27 फरवरी 2025 को समाप्त हो चुका है। पेराई सत्र 2024-25 में चीनी मिल ने 75.16 लाख क्विंटल गन्ने की खरीद की है, जिसका गन्ना मूल्य दो अरब 73 करोड़ 54 लाख 77 हजार रुपये व अंशदान चार करोड़ 13 लाख रुपये समेत कुल दो अरब 77 करोड़ 68 लाख 16 हजार रुपये का भुगतान किया जाना था, लेकिन चीनी मिल ने 89 करोड़ 88 लाख 599 हजार रुपये का भुगतान किया है।