पंजाब में बारिश से 40 फीसदी गेहूं पर पड़ा असर

चंडीगढ़ : पंजाब में 24 मार्च से बारिश, तेज हवाओं और ओलावृष्टि ने रबी सीजन के दौरान बोए गए 34.9 लाख हेक्टेयर गेहूं के कम से कम 14 लाख हेक्टेयर (40%) को प्रभावित किया है।कृषि निदेशक गुरविंदर सिंह ने कहा, मुख्यमंत्री भगवंत मान ने हाल ही में गिरदावरी (फसल नुकसान जानने के लिए एक आकलन) का आदेश दिया था और हम नुकसान का आकलन कर रहे हैं। नुकसान का आकलन करने वाले राजस्व विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि, बारिश रुकने के बाद ही यह प्रक्रिया पूरी हो सकती है। मंगलवार और बुधवार को राज्य में छिटपुट स्थानों पर अधिक बारिश और तेज हवाएं चलने की संभावना है। मौसम विभाग ने छह अप्रैल से मौसम साफ रहने का अनुमान जताया है, जिससे किसानों को राहत मिलने की उम्मीद है।

कृषि विभाग के मुताबिक, कुल उपज में कम से कम 15 से 20 फीसदी का नुकसान होगा।बारिश से पहले गेहूं का कुल उत्पादन 170 से 175 लाख टन आंका गया था, लेकिन अब यह 145 से 150 लाख टन के आसपास रहने की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि अनाज की गुणवत्ता भी प्रभावित होगी क्योंकि सूखे और बदरंग अनाज की मात्रा अधिक होगी। प्रदेश में एक अप्रैल को गेहूं की खरीद के लिए कुल 1872 मंडियां खोली गई थीं, लेकिन तीन अप्रैल तक गेहूं की आवक नहीं हुई है. अभी तक केवल राजपुरा मंडी में 8 हजार क्विंटल अनाज के साथ दो ट्रैक्टर-ट्रेल प्राप्त हुए हैं।यह लगातार दूसरा रबी सीजन है, जब गेहूं की पैदावार प्रभावित हुई है। पिछले साल लगभग 15 प्रतिशत उपज खराब हो गई थी और किसानों को 6,000 करोड़ रुपये का आर्थिक नुकसान हुआ था।

खाद्य और नागरिक आपूर्ति विभाग, जो केंद्र सरकार के खाद्य निगम के साथ अपनी चार खरीद एजेंसियों के माध्यम से केंद्र की ओर से खाद्यान्न खरीदता है, उस विभाग ने केंद्रीय खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्रालय को गेहूं खरीद के मानदंडों में ढील देने की मांग की है। केंद्रीय कृषि मंत्रालय के वैज्ञानिकों की एक टीम के नुकसान का आकलन करने के लिए राज्य का दौरा करने की उम्मीद है। भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के वैज्ञानिक करनाल में भारतीय गेहूं और जौ अनुसंधान संस्थान चलाते हैं और नुकसान की मात्रा जानने के लिए पंजाब का दौरा किया। गुरविंदर सिंह ने कहा, हमने जो रिपोर्ट की है, उसके आधार पर वैज्ञानिकों ने नुकसान को पर्याप्त बताया है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here