मैसूर: कर्नाटक में गन्ना मूल्य में संशोधन करने की मांग की जा रही है। कर्नाटक राज्य गन्ना उत्पादक संघ के बैनर तले किसानों ने गन्ने के लिए संशोधित एफआरपी की मांग के विरोध में किए जाने वाले आंदोलन पर चर्चा करने के लिए गन हाउस सर्कल के पास कुवेम्पु पार्क में एक बैठक की। बैठक को संबोधित करते हुए एसोसिएशन के अध्यक्ष कुरबुर शांता कुमार ने कहा कि, वह पिछले सप्ताह उत्तर प्रदेश में गन्ने की खेती और वहां के चीनी उद्योगों का अध्ययन करने गए थे। उन्होंने कहा कि, यूपी में गन्ना उत्पादकों को एफआरपी (उचित और लाभकारी मूल्य) के रूप में 3,500 रुपये प्रति टन मिल रहा है, साथ ही वहां की सरकार ने सही समय पर गन्ने की खेती और इसे पास के मिलों तक पहुंचाने के उपाय किए हैं। लेकिन कर्नाटक में इस सुविधा का अभाव है।
कर्नाटक सरकार को सिंचाई पम्पसेटों को बिजली प्रदान करके, उर्वरक की कीमतों में कमी और बुवाई के बीज और अन्य कृषि आदानों की समय पर आपूर्ति करके किसानों के बचाव में आने की कामना करते हुए, उन्होंने कहा कि एसोसिएशन एक बड़ा विरोध प्रदर्शन करने के लिए मजबूर होगा यदि सरकार गन्ना उत्पादकों से संबंधित सभी मुद्दों को हल करने में विफल रहती है, जिसमें यूपी मॉडल की तर्ज पर उचित एफआरपी की घोषणा शामिल है। इस बैठक में एसोसिएशन के पदाधिकारी अट्टाहल्ली देवराज, किरागासुर शंकर व अन्य उपस्थित थे।