नैरोबी: उच्च न्यायालय ने राज्य के स्वामित्व वाली चीनी मिलों को लीज पर देने की सरकार की योजना को अस्थायी रूप से रोक दिया है। न्यायमूर्ति एस एम गितिनजी ने नंदी काउंटी के गन्ना किसानों के एक समूह द्वारा दायर याचिका की सुनवाई के चलते प्रक्रिया को अस्थायी रूप से रोक दिया। नंदी काउंटी के पांच किसानों और 45 अन्य लोगों द्वारा मामला कोर्ट दायर किया गया था, जो चीनी मिलों के संभाव्य निजीकरण का विरोध कर रहे हैं। सरकार 25 वर्षों के लिए मुहोरोनी, चेमेलिल, नोजिया, मिवानी और सोनी चीनी मिल को लीज पर देना चाहती है। याचिकाकर्ता डेविड कित्तूर, डेविड सूम, एडवर्ड बार्नगुटी, चार्ल्स तनुई और जेपिरचिर किबोर ने कृषि सीएस पीटर मुन्या, कृषि और खाद्य प्राधिकरण के महानिदेशक और अटॉर्नी जनरल पॉल किहारा पर मुकदमा दायर किया।अगली सुनवाई 10 नवंबर, 2020 को निर्धारित की गई है।
सोनी मिल लीज पर देने को भी कड़ा विरोध…
आर्थिक संकटों से परेशान सोनी चीनी कंपनी को लीज पर देने का किसानों ने कड़ा विरोध किया है, किसानों ने सरकार पर मिल को लीज पर देने से पहले अपना बकाया भुगतान करने का दबाव बनाया है। सोनी चीनी मिल, उन पांच सरकारी मिलों में से एक है जो सरकार द्वारा लीज पर देने के प्रक्रीया में शामिल हैं।
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