करनाल : महाराणा प्रताप बागवानी विश्वविद्यालय (एमएचयू) किसानों, उद्यमियों और इसके छात्रों को ड्रोन प्रशिक्षण प्रदान करेगा। जिले में इसके अंजंथली फार्म पर प्रशिक्षण केंद्र स्थापित किया जाएगा। एमएचयू के कुलपति डॉ समर सिंह ने कहा कि, केंद्र नवंबर के अंत तक शुरू होने की उम्मीद है और छात्रों, किसानों और उद्यमियों को एक सप्ताह का प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण पूरा होने के बाद उन्हें ड्रोन संचालित करने के लिए ड्रोन फ्लाइंग लाइसेंस दिए जाएंगे। उन्होंने दावा किया कि, एमएचयू इस तरह का प्रशिक्षण देने और लाइसेंस जारी करने वाला राज्य में सरकारी क्षेत्र का पहला विश्वविद्यालय होगा। उन्होंने कहा कि, दिशानिर्देशों के अनुसार ड्रोन के संचालन के लिए लाइसेंस की आवश्यकता होती है। उन्होंने कहा, हमारा संस्थान पूरे क्षेत्र के अन्य निजी संस्थानों की तुलना में कम शुल्क पर प्रशिक्षण प्रदान करेगा।
इसके अलावा, एमएचयू छह महीने में किसानों के खेतों में ड्रोन स्प्रे के 250 प्रदर्शन करेगा। इसके लिए उसने दो ड्रोन खरीदे हैं, जिन्हें गुरुवार को विशेषज्ञों और किसानों की मौजूदगी में लॉन्च किया गया। किसानों को ड्रोन स्प्रे का प्रदर्शन दिया गया। छिड़काव में ड्रोन का उपयोग एक नई तकनीक है और इससे न केवल समय की बचत होगी, बल्कि जनशक्ति का उपयोग भी कम होगा। मैनुअल मोड की तुलना में ड्रोन की मदद से स्प्रे अधिक प्रभावी है। कुलपति डॉ समर सिंह ने कहा कि, गन्ने, फलों की फसलों और अन्य जैसी ऊंचाई वाली फसलों में ड्रोन की मदद से छिड़काव अधिक प्रभावी है, जबकि मैनुअल स्प्रे मुश्किल है।