तंजानिया: चीनी की बढ़ती कीमतों को रोकने के लिए 50,000 टन आयात का फैसला

तंजानिया: चीनी की बढ़ती कीमतों को रोकने के लिए 50,000 टन आयात का फैसला

दार एस सलाम: तंजानिया सरकार ने चीनी की कमी को दूर करने के प्रयासों के तहत 50,000 टन चीनी के आयात करने का फैसला किया है। हाल के महीनों में चीनी की कीमतें बढ़ गई हैं। बारिश के कारण लगभग सभी प्रमुख चीनी मिलर्स को लगभग दो महीने के लिए उत्पादन बंद करना पड़ा था। दार एस सलाम, म्वांज़ा, अरुशा, इरिंगा और मान्यारा क्षेत्रों में किए गए एक सर्वेक्षण के अनुसार, एक किलोग्राम चीनी की खुदरा कीमत Sh4,000 और Sh5,000 के बीच है, जो कुछ हप्ते पहले Sh3,000 और Sh3,200 के बीच थी।

तंजानिया के चीनी बोर्ड (एसबीटी) के महानिदेशक केनेथ बेंगेसी ने पुष्टि की कि, गन्ने के बागानों में पानी भर जाने और फसल की गुणवत्ता प्रभावित होने के बाद लगभग सभी प्रमुख मिलों में उत्पादन दो महीने के लिए निलंबित कर दिया गया है। उन्होंने ‘द सिटिजन’ को एक टेलीफोन साक्षात्कार में बताया, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि किलिमंजारो और मोरोगोरो जैसे प्रमुख चीनी उत्पादक क्षेत्रों में हाल के महीनों में असामान्य रूप से भारी बारिश हुई, जिससे उत्पादन पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा। बेन्गेसी ने कहा कि, मिलर्स के पास स्टॉक में मौजूद सारी चीनी ख़त्म हो गई थी, जिससे थोक विक्रेताओं को कीमतें बढ़ाने के लिए मजबूर होना पड़ा।उन्होंने कहा, सरकार ने स्टॉक को फिर से भरने और स्थिति को सामान्य करने के लिए चीनी आयात परमिट जारी किए है।

प्रो. बेंगेसी ने थोक विक्रेताओं और खुदरा विक्रेताओं को मनमाने ढंग से कीमतें बढ़ाने के खिलाफ चेतावनी दी, और कहा कि दोषियों के खिलाफ कड़े कदम उठाए जाएंगे। टीपीसी लिमिटेड के प्रशासनिक अधिकारी जाफरी एन ने ‘द सिटीज’ को बताया कि, अत्यधिक बारिश के कारण नवंबर और दिसंबर की शुरुआत में चीनी उत्पादन में गिरावट आई है। उन्होंने कहा, हमने उत्पादन फिर से शुरू कर दिया है। जुलाई और दिसंबर के बीच कम से कम 61,000 टन चीनी बेची गई। उन्होंने कहा कि, कंपनी का वार्षिक उत्पादन 110,000 टन से अधिक है। उत्पादन फिर से शुरू होने से निश्चित रूप से अगले कुछ दिनों में कीमत में गिरावट आएगी।

बखरेसा कंपनी लिमिटेड के सहायक महाप्रबंधक हुसैन सुफियान ने कहा कि, कंपनी की सहायक कंपनी बागमोयो शुगर ने भी भारी बारिश के कारण नवंबर में उत्पादन निलंबित कर दिया था। उन्होंने कहा, आमतौर पर हमें औसतन 400 मिमी और 500 मिमी बारिश होती है, लेकिन इस बार हमारे गन्ने के बागानों में लगभग 1,500 मिमी बारिश दर्ज की गई और इससे उत्पादन पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा। मन्यारा शुगर फैक्ट्री के जनसंपर्क निदेशक जॉन ज्यू ने कहा कि, कंपनी कच्चे माल की कमी और क्षतिग्रस्त सड़कों से जूझ रही थी, जिससे फैक्ट्री तक गन्ने का परिवहन बाधित हो रहा था।

 

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