गन्ना खेती में महिलाएं देंगी योगदान, महिला समूह तैयार करेंगे गन्ना पौध

बुलंदशहर : उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य की महिलाओं आत्मनिर्भर बनाने के लिए पहल शुरू कर दी है, और इसी पहल के तहत जिले में 88 महिला स्वयं सहायता समूहों को गन्ने की पौध तैयार करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। महिलाओं को प्रति पौध सरकार 1.50 रुपये अनुदान देगी और किसान को यह पौधा दो से तीन रुपये तक बेचा जा सकेगा। इससे महिला समूह की लाखों रुपये की कमाई हो सकती है।

अमर उजाला में प्रकाशित खबर के अनुसार, जिले में चार चीनी मिलें है। इनमें अनूपशहर, अनामिका, साबितगढ़ और वेव शुगर मिल शामिल है। इन सभी मिलों के अंतर्गत आने वाले क्षेत्र में स्वयं सहायता समूहों का चयन गन्ने की पौध तैयार करने के लिए किया गया है। शासन के आदेश पर जिला गन्ना विभाग ने स्वयं सहायता समूह का चयन कर लिया है। एक महिला समूह कितने भी पौधे तैयार कर सकता है। गन्ने की पौध तैयार करने में कोई लागत नहीं आएगी क्योंकि महिलाएं अपने ही खेत के गन्ने लेकर तैयार कर सकती है। जिनके पास खेत नहीं है, उन महिलाओं को गन्ना विभाग की ओर से उपलब्ध करवाया जाएगा। पौध तैयार करने के लिए सीड ट्रेड शीड कटर निशुल्क उपलब्ध करवाया जाएगा।महिलाओं द्वारा तैयार की जाने वाली पौध का भी विभागीय अधिकारी समय-समय पर निरीक्षण करेंगे। 88 समूह से जुड़ी 500 से अधिक महिलाएं गन्ने की पौध तैयार करने तैयारी में जुट गई हैं।नर्सरी में तैयार पौध से गन्ने की फसल अच्छी होती है।इससे किसानों को अधिक उत्पादन होने पर अधिक लाभ भी मिलता है।

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